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राजनीतिक प्रचार-प्रसार पर रोक के नियमों का उल्लंघन होने पर चुनाव आयोग द्वारा कड़ी कार्रवाई

शांति अवधि के दौरान मतदाताओं को प्रभावित करने वाले राजनीतिक प्रचार-प्रसार पर रोक के नियमों का उल्लंघन होने पर चुनाव आयोग द्वारा कड़ी कार्रवाई की जायेगी.

मुंबई, दि. 18 नवंबर 2024

राज्य में 20 नवंबर 2024, सोमवार को होने वाले चुनाव के लिए 18 नवंबर 2024 को शाम 6 बजे शांति का दौर शुरू हुआ। इस दौरान मतदान लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 126 के तहत समाप्ति से 48 घंटे के भीतर मतदाताओं को प्रभावित करने के लिए प्रचार और सार्वजनिक बैठकें, जुलूस आयोजित करना, उपस्थिति या भागीदारी निषिद्ध है. इन शर्तों के उल्लंघन की स्थिति में दो मुख्य जानकारी यह है कि इसमें एक साल तक की कैद या जुर्माना या दोनों का प्रावधान है इसकी जानकारी चुनाव अधिकारी कार्यालय की ओर से दी गयी.
भारत निर्वाचन आयोग ने लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत निर्देश जारी किये हैं। आयोग ने निर्देश दिया है कि चुनाव प्रचार की शांति अवधि के दौरान प्रिंट मीडिया में प्रकाशित राजनीतिक विज्ञापन विज्ञापन पूर्व-प्रमाणन समिति की मंजूरी के बिना समाचार पत्रों में प्रकाशित नहीं किए जाने चाहिए। अभियान की शांति के दौरान दृश्य-श्रव्य मीडिया (टेलीविजन, केबल नेटवर्क, रेडियो और सोशल मीडिया) पर राजनीतिक विज्ञापन प्रतिबंधित हैं।

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